• Sat. Jul 27th, 2024

दिल्ली में पानी के सकंट को लेकर सुप्रीमकोर्ट में सुनवाई,हरियाणा ,UP से पानी छोड़े जाने के लिए दिल्ली सरकार ने दायर की थी याचिका

Report By : Ankit Srivastav, ICN Network

सुप्रीम कोर्ट दिल्ली जल संकट से जुड़े मामले की सुनवाई करेगा। दिल्ली सरकार ने 31 मई को दायर याचिका में अपील की है कि सुप्रीम कोर्ट हरियाणा, उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश को निर्देश दे कि वे पानी की कमी से जूझ रही देश की राजधानी के लिए एक महीने तक एक्स्ट्रा पानी छोड़ें। मामले की सुनवाई जस्टिस प्रशांत कुमार मिश्रा और जस्टिस के विश्वनाथन की बेंच करेगी।

दिल्ली में जल संकट के दो कारण हैं- गर्मी और पड़ोसी राज्यों पर निर्भरता। दिल्ली के पास अपना कोई जल स्रोत नहीं है। पानी के लिए यह पड़ोसी राज्यों पर निर्भर है। दिल्ली जल बोर्ड के मुताबिक इस साल दिल्ली जरूरत हर दिन 32.1 करोड़ गैलन प्रति दिन पानी की कमी से जूझ रहा है।

दिल्ली जल बोर्ड के मुताबिक राज्य को रोजाना 129 करोड़ गैलन पानी की जरूरत है। लेकिन गर्मियों में केवल 96.9 करोड़ गैलन प्रति दिन ही मांग पूरी हो पा रही है। यानी दिल्ली की 2.30 करोड़ आबादी को हर दिन 129 करोड़ गैलन पानी चाहिए, लेकिन उसे सिर्फ 96.9 करोड़ गैलन पानी ही मिल रहा है।

दिल्ली में पानी की जरूरत हरियाणा सरकार यमुना नदी से, उत्तर प्रदेश सरकार गंगा नदी से और पंजाब सरकार भाखरा नांगल से मिले पानी से पूरी करती है। 2023 की एक रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली को हर दिन यमुना से 38.9 करोड़ गैलन, गंगा नदी से 25.3 करोड़ गैलन और भाखरा-नांगल से रावी-व्यास नदी से 22.1 करोड़ गैलन पानी मिलता था। इसके अलावा कुंए, ट्यूबवेल और ग्राउंड वाटर से 9 करोड़ गैलन पानी आता था। यानी दिल्ली को हर दिन 95.3 करोड़ गैलन पानी मिलता था। 2024 के लिए यह आंकड़ा बढ़कर 96.9 करोड़ गैलन हो गया है।

By admin

Journalist & Entertainer Ankit Srivastav ( Ankshree)

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *