Report By : Ankit Srivastav, ICN Network
UAE के राष्ट्रपति मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान ने अमेरिका के मोस्ट वॉन्टेड आतंकी और हक्कानी नेटवर्क के चीफ सिराजुद्दीन हक्कानी से मुलाकात की है। दरअसल, हक्कानी अफगानिस्तान में मौजूद तालिबान की सरकार में गृह मंत्री है। उस पर अमेरिका में 83 करोड़ रुपए का इनाम घोषित है।
दरअसल, 2010 के दशक में हक्कानी नेटवर्क ने अफगानिस्तान में अमेरिकी सैनिकों पर एक के बाद एक कई आत्मघाती हमले किए थे। 2012 में अमेरिका ने हक्कानी नेटवर्क को आतंकी संगठन घोषित कर दिया था।
सिराजुद्दीन और उसके पिता ने मिलकर 2008 में काबुल के भारतीय दूतावास पर भी हमला कराया था। इसमें 58 लोगों की मौत हुई थी। 2011 में अमेरिका के जॉइंट चीफ ऑफ स्टाफ रहे जनरल माइक मुलेन ने हक्कानी नेटवर्क को पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI का दायां हाथ और एजेंट बताया था।
2021 में अफगानिस्तान पर कब्जे के बाद यह पहला मौका है, जब सिराजुद्दीन हक्कानी किसी विदेश यात्रा पर गया है। UAE के राष्ट्रपति ने मंगलवार (6 जून) को अबु धाबी के कासर अल-शाती पैलेस में हक्कानी से मुलाकात की। इस दौरान दोनों नेताओं ने UAE और अफगानिस्तान के रिश्तों को मजबूत करने पर चर्चा की। बैठक के दौरान अफगानिस्तान में आर्थिक और सामाजिक विकास पर भी बातचीत की गई।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, हक्कानी की इस मीटिंग के एजेंडे में UAE की जेलों में बंद अफगान कैदियों की रिहाई और अफगानियों के लिए UAE की वीजा सर्विस शुरू कराने जैसे मुद्दे शामिल थे। तालिबान के प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद ने बताया कि दोनों नेताओं के बीच अफगानिस्तान में UAE की कंपनियों का निवेश बढ़ाने पर भी चर्चा की गई।
इस बैठक में तालिबान का स्पाई चीफ अब्दुल हक वासिक भी शामिल रहा। वह कई सालों तक ग्वांटानामो बे में मौजूद अमेरिकी मिलिट्री जेल में कैद रह चुका है। 2014 में कैदियों की अदला-बदली के दौरान उसे रिहा किया गया था।