Report By-Anil Kumar Ghazipur(UP)
यूपी के गाजीपुर जनपद का एक ऐसा गांव जो फौजियों के गांव के नाम से जाना जाता है और एशिया के बड़े गांव में भी शुमार होता है। लेकिन यहां पर स्वास्थ्य सुविधा नहीं होने की वजह से इस गांव में जन्म लेने वाले बच्चे अपने गांव में जन्म नहीं ले पाते बल्कि वह पड़ोस के राज्य बिहार में जन्म लेकर जन्म से ही बिहारी बन जाते हैं। कारण की गहमर गांव से बक्सर की दूरी लगभग 10 से 15 किलोमीटर है जबकि गाजीपुर जिला मुख्यालय की दूरी करीब 40 किलोमीटर है। ऐसे में यहां के स्थानीय लोग बिहार जाना ज्यादा पसंद करते हैं।
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के निर्माण के लिए एक से डेढ़ लाख की आबादी चाहिए। जबकि गहमर गांव अकेले इसे पूरा करता है। उन्होंने बताया कि विकासखंड भदौरा गाज़ीपुर की 2011 के जनगणना के आधार पर जनसंख्या 293261 है। एवं सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भदौरा से प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की दूरी 10 किलोमीटर है। साथ ही सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के निर्माण के लिए न्यूनतम एक से डेढ़ एकड़ की भूमि की आवश्यकता होती है। जिसके लिए मुख्य राजस्व अधिकारी को पत्राचार कर दिया गया है। बताते चले की एशिया के सबसे बड़े गांव में शुमार गहमर गांव जो फौजियों के गांव के नाम से भी जाना जाता है। यहां पर पूर्व से प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र संचालित होता रहा है। जो काफी हो जीर्ण शीर्ण हो चुकी है। पिछले दिनों जमानिया विधायक ओम प्रकाश सिंह के द्वारा स्वास्थ केंद्र का दौरा किया गया था। वहां पर काफी लापरवाही भी मिली थी। कई स्टाफ मौके से गायब मिले थे। जिसको विधायक ओम प्रकाश सिंह ने संज्ञान लेते हुए स्वास्थ्य सुविधा को बढ़ाने के बारे में यह कदम उठाया है।