Report By: Vidya Prakash Bharti (Mirzapur UP)
मिर्जापुर : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ड्रीम प्रोजेक्ट में शामिल विंध्य कॉरिडोर के प्रथम चरण का कार्य फरवरी माह के अंत तक पूरा कर लिया जायेगा। प्रथम चरण में परिक्रमा पथ एवं चारों दिशाओं से आने वाले चार रास्तों का चयन किया गया है। ततय सीमा में कार्य करने के लिए तीन शिफ्ट में निर्माण कार्य को फाइनल टचटच दिया जा रहा है।
जानकारी देते हुए जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन ने बताया कि कॉरिडोर का निर्माण तेजी से काम चल रहा है । जो अंतिम चरण में हैं। फरवरी माह के अंत तक इसे पूरा कर लिया जायेगा। काशी और प्रयागराज के मध्य विराजमान माता विंध्यवासिनी के प्राचीन मन्दिर को भव्य और नव्य बनाने के लिए विंध्य कॉरीडोर का शिलान्यास गृह मंत्री अमित शाह और मुख्य मंत्री योगी आदित्यनाथ ने संयुक्त रूप से 1 अगस्त 2021 में किया था। विंध्य कॉरिडोर का कार्य युद्ध स्तर पर तीन शिफ्ट में कार्य करते हुए जल्द से जल्द पूरा करने का निर्देश दिया जाता रहा।
यात्रियों को अब सकरें रास्ते से नहीं बल्कि करीब चौड़े मार्ग से आने जाने वाला डगर मिलेगा। कॉरिडोर का निर्माण हो जाने के बाद सुरक्षा के साथ ही आने वाले श्रद्धालुओं को सहूलियत होगी। विंध्य पर्वत पर विराजमान माता विंध्यवासिनी के धाम को सजाने के लिए अहरौरा के गुलाबी पत्थरों का प्रयोग किया जा रहा है। जिसे पहले राजस्थान भेजा जा रहा है। जिसे तराशकर आने के बाद कॉरिडोर में प्रयोग किया जा रहा है।
धाम के परिक्रमा पथ पर 130 पिलर का निर्माण कराया गया है। निर्माण का जिम्मा राजकीय निर्माण निगम को मिला है। विंध्याचल मंदिर आने वाले श्रद्धालु चारों दिशा से दर्शन के लिए आ सकते है। मन्दिर मार्ग पर चार प्रमुख द्वार पर बन रहा है। मां विंध्यवासिनी के धाम में चार प्रमुख मार्ग थाना कोतवाली, न्यू वीआईपी, पुरानी वीआईपी व पक्का घाट मार्ग पर विशाल द्वार बनवाया गया हैं ।
धाम को भव्य स्वरूप देने के लिए लगभग 331 करोड़ की लागत से विंध्य कॉरिडोर का निर्माण किया जा रहा है। जिसमें 15 करोड़ 67 लाख की लागत से पुरानी वीआईपी मार्ग का कायाकल्प, 19 करोड़ 41 लाख की लागत से दो मंजिला 50 फीट परिक्रमा पथ, 6 करोड़ 52 लाख की लागत से वीआईपी गली का कायाकल्प, 9 करोड़ 2 लाख की लागत से पक्का घाट मार्ग और 2 करोड़ 35 लाख की लागत से कोतवाली रोड का कायाकल्प किया गया है। कॉरिडोर में परिक्रमा पथ और संपर्क मार्ग प्रथम चरण में रखा गया है । द्वितीय चरण में यात्रियों की सुविधा के लिए ठहरने, पार्किंग समेत कई काम होगा। इसके अलावा मां के धाम को नया स्वरूप देने के लिए अगले चरण में काम किया जायेगा।