यह लिंक एक्सप्रेस-वे राज्य के सबसे महंगे सड़क अवसंरचना प्रोजेक्ट्स में से एक होगा। इससे पहले गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे की 91 किमी लंबाई पर 7,300 करोड़ रुपये खर्च हुए थे, यानी प्रति किलोमीटर करीब 80 करोड़ रुपये। लेकिन फर्रुखाबाद लिंक एक्सप्रेस-वे इस रिकॉर्ड को पीछे छोड़ देगा, क्योंकि इसके 90.838 किमी के निर्माण पर 7,488.74 करोड़ रुपये की लागत आएगी, यानी प्रति किलोमीटर लगभग 82-83 करोड़ रुपये। इस परियोजना से फर्रुखाबाद जिला सीधे तौर पर लाभान्वित होगा, क्योंकि यह क्षेत्र अब बेहतर कनेक्टिविटी के साथ विकास की नई ऊंचाइयों को छूएगा। कुदरैल से सयाइजपुर तक बिछेगी विकास की राह
प्रस्तावित एक्सप्रेस-वे आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे के कुदरैल (इटावा) से शुरू होकर गंगा एक्सप्रेस-वे के सयाइजपुर (हरदोई) तक पहुंचेगा। इसकी कुल लंबाई 90.838 किमी होगी। परियोजना का निर्माण कार्य 548 दिनों में पूरा करने का लक्ष्य है, जिसके बाद 5 वर्षों तक अनुरक्षण कार्य भी किया जाएगा। इस परियोजना में केंद्र सरकार की कोई वित्तीय भागीदारी नहीं होगी, और निर्माण के लिए निविदा प्रक्रिया के जरिए ठेकेदार का चयन किया जाएगा। एक्सप्रेस-वे की ग्रिड से यूपी की नई पहचान
उत्तर प्रदेश में सड़क कनेक्टिविटी को नई ऊंचाइयों तक ले जाने के लिए यह परियोजना एक मील का पत्थर साबित होगी। आगरा-लखनऊ और बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे पहले से ही संचालित हैं, जबकि गंगा एक्सप्रेस-वे (मेरठ से प्रयागराज) निर्माणाधीन है। यह नया लिंक एक्सप्रेस-वे बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे को गंगा एक्सप्रेस-वे तक जोड़ेगा और फर्रुखाबाद के रास्ते उत्तर-दक्षिण दिशा में कनेक्टिविटी को मजबूत करेगा। यह परियोजना आगरा-लखनऊ, बुंदेलखंड और गंगा एक्सप्रेस-वे को आपस में जोड़कर एक सशक्त एक्सप्रेस-वे ग्रिड का निर्माण करेगी, जो उत्तर प्रदेश को आर्थिक और सामाजिक विकास के नए आयाम देगी।