Saurabh BhardwajSaurabh Bhardwaj News: आम आदमी पार्टी (AAP) के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष सौरभ भारद्वाज ने एक दुर्लभ मोड़ लिया है, जहां आलोचना के बजाय सराहना की मिठास घुली। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव की तारीफ करते हुए उन्होंने नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर एक पर अपने सकारात्मक अनुभव को सोशल मीडिया X पर एक वीडियो के माध्यम से बयां किया। सौरभ का मानना है कि अच्छे काम की तालियां बजाना उतना ही जरूरी है जितनी आलोचना का तीर चलाना।
स्टेशन पर सरप्राइज मोमेंट: साफ-सुथरे टॉयलेट ने जीता दिल
वीडियो में सौरभ ने बताया कि वे नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर एक पर उतरे। वहां स्लीपर क्लास वेटिंग रूम का जायजा लिया और टॉयलेट का इस्तेमाल किया। जो नजारा दिखा, वो उनकी कल्पना से कहीं आगे था—चकाचौंध साफ-सुथरा! उन्होंने कहा, “वहां सफाई के लिए एक समर्पित कर्मचारी तैनात था, जो बिना थके मेहनत कर रहा था। इससे लगा कि रेलवे में सकारात्मक बदलाव की हवा चल रही है।”
वैसे तो रेल विभाग ने रेल दुर्घटनाओं ने रिकॉर्ड बनाया है। मगर आज कुछ अच्छा दिखा तो सोचा इस बात पर विभाग की तारीफ़ भी की जाए ।
आलोचना तो की, अब तारीफ का नंबर’: सौरभ का निष्पक्ष संदेश
अपने X पोस्ट में सौरभ ने भावुक अंदाज में लिखा, “आज नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हूं। अक्सर मैंने रेलवे और खासकर मंत्री अश्विनी वैष्णव की आलोचना की है. ट्रेन हादसों का सिलसिला तो रुकना चाहिए, ये सच है। लेकिन आज प्लेटफॉर्म नंबर वन पर आया तो स्लीपर क्लास वेटिंग रूम में घुसा।”
वे आगे बोले, “शौचालय का हाल देखा—मेरी अपेक्षा से कहीं बेहतर! बेदाग साफ, और एक कर्मचारी सफाई में जुटा हुआ। इसलिए मानता हूं, अच्छाई को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। रेलवे ने सचमुच कदम बढ़ाए हैं।” सौरभ का यह बयान रेलवे सुधारों की दिशा में एक चमकदार किरण की तरह चमका, जहां आम स्टेशनों की गंदगी की शिकायतें तो आम हैं, लेकिन यह अनुभव साबित करता है कि मंत्रालय मेहनत कर रहा है। उनकी निष्पक्षता से साफ झलकता है कि वे सच्चाई के पैमाने पर ही तौलते हैं।
ट्रेन हादसों का काला अध्याय: वैष्णव पर विपक्ष का लगातार निशाना
हालांकि, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव का सफर हमेशा आसान नहीं रहा। ट्रेन दुर्घटनाओं के बाद विपक्ष ने उन्हें बार-बार घेरा है। नई दिल्ली स्टेशन पर भगदड़ का हंगामा हो या बालासोर का दिल दहला देने वाला हादसा—हर बार संसद की गलियारों में तीखी बहस और आरोपों की बौछार हुई। विपक्ष के तीरों ने उन्हें निशाने पर रखा, लेकिन सौरभ की यह तारीफ साबित करती है कि सुधारों की रोशनी भी अब दिखने लगी है।