Report By : Ankit Srivastav, ICN Network
लोकसभा चुनाव के बाद अब सरकार बनाने की कवायद शुरू हो गई है। NDA आज ही सरकार बनाने का दावा पेश कर सकता है। इसके लिए एनडीए के सभी दलों के नेता शाम 7:45 बजे राष्ट्रपति भवन पहुंचेंगे।
इस बीच पीएम मोदी के इस्तीफे और कैबिनेट को भंग करने की सिफारिश के बाद राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने लोकसभा को भंग कर दिया।
NDA की मीटिंग पीएम आवास पर एक घंटे चली। 10 से ज्यादा पार्टियों के नेता शामिल हुए। इनमें जेडीयू नेता और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, टीडीपी प्रमुख चंद्रबाबू नायडू, आजसू प्रमुख सुदेश महतो, RLD के जयंत चौधरी, जन सेना पार्टी के प्रमुख पवन कल्याण, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, एलजेपी (रामविलास) के नेता चिराग पासवान, अपना दल (सोनेलाल) की नेता अनुप्रिया पटेल और हम के नेता जीतनराम मांझी शामिल हैं।
सूत्रों के मुताबिक, टीडीपी ने 6 मंत्रालयों समेत स्पीकर पद की मांग की। वहीं, JDU ने 3, चिराग ने 2 (एक कैबिनेट, एक स्वतंत्र प्रभार), मांझी ने एक, शिंदे ने 2 (एक कैबिनेट, एक स्वतंत्र प्रभार) मंत्रालयों की मांग की है। वहीं, जयंत ने कहा है कि हमें इलेक्शन के पहले एक मंत्री पद देने का वादा किया गया था। इसी तरह अनुप्रिया पटेल भी एक मंत्री पद चाहती हैं।
7 जून को सुबह 11 बजे NDA संसदीय दल की बैठक होगी। इसमें नरेंद्र मोदी को औपचारिक तौर पर नेता चुना जाएगा। इसके बाद 8 जून को मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ लेंगे।
सूत्रों के मुताबिक, टीडीपी ने 6 मंत्रालयों समेत स्पीकर पद की मांग की। वहीं, JDU ने 3, चिराग ने 2 (एक कैबिनेट, एक स्वतंत्र प्रभार), मांझी ने एक, शिंदे ने 2 (एक कैबिनेट, एक स्वतंत्र प्रभार) मंत्रालयों की मांग की है। वहीं, जयंत ने कहा है कि हमें इलेक्शन के पहले एक मंत्री पद देने का वादा किया गया था। इसी तरह अनुप्रिया पटेल भी एक मंत्री पद चाहती हैं।
7 जून को सुबह 11 बजे NDA संसदीय दल की बैठक होगी। इसमें नरेंद्र मोदी को औपचारिक तौर पर नेता चुना जाएगा। इसके बाद 8 जून को मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ लेंगे।
लोकसभा चुनाव में भाजपा को 240 सीटें मिली हैं। यह बहुमत के आंकड़े (272) से 32 सीटें कम हैं। हालांकि NDA ने 292 सीटों के साथ बहुमत के आंकड़े को पार कर लिया।
चंद्रबाबू की TDP 16 सीटों के साथ दूसरी और नीतीश की JDU 12 सीटों के साथ NDA में तीसरी सबसे बड़ी पार्टी बन गई है। दोनों ही पार्टियां इस वक्त भाजपा के लिए जरूरी हैं। इनके बिना भाजपा का सरकार बनाना मुश्किल है।