Report By-Pawan Sharma ,Mathura(UP)
यूपी के मथुरा में जन जन के आराध्य भगवान बांके बिहारी जी का रविवार को बिहार पंचमी के अवसर पर 480 वां प्राकट्य उत्सव धूमधाम से मनाया जा रहा है। 480 वर्ष पहले रसिक साधना के संत स्वामी हरिदास जी ने अपनी संगीत साधना के जरिए भगवान बांके बिहारी जी को वृंदावन की पवित्र भूमि से प्रगट किया था। बिहार पंचमी के दिन प्रगट हुए भगवान बांके बिहारी जी का प्रति वर्ष बड़े धूमधाम से उत्सव मनाया जाता है।
बांके बिहारी जी के प्राकट्य उत्सव की शुरुआत उनकी प्राकट्य स्थली पर अभिषेक के साथ हुई। निधिवन राज में वैदिक मंत्रोच्चार के मध्य ब्रह्म मुहूर्त में उनकी प्राकट्य स्थली का पंचामृत से अभिषेक किया जायेगा। मंदिर के पुजारियों ने यहां 2100 किलो दूध,दही,घी, शहद और शक्कर से बने पंचामृत से अभिषेक किया। इसके बाद प्राकट्य स्थली की महा आरती की गई।
पंचामृत अभिषेक के बाद सुबह करीब 10 बजे से श्री रंगनाथ मंदिर से बधाई शोभायात्रा निकाली जाएगी। इस शोभायात्रा में चांदी के रथ में स्वामी हरिदास जी के चित्र को विराजमान किया जायेगा। जिसके बाद शुरू होगी भव्य शोभायात्रा।
भगवान बांके बिहारी जी के प्राकट्य उत्सव पर निकाली जाने वाली शोभायात्रा में उत्तर प्रदेश के मथुरा,आगरा और हापुड़,,दिल्ली,हरियाणा के गुरुग्राम और महाराष्ट्र के नागपुर,पुणे के दस बैंड बधाई गायन करेंगे। इसके अलावा 7 झांकी भी शामिल होंगी। वहीं महिलाएं डांडिया नृत्य कर अपने आराध्य को बधाई देंगी।
भगवान बांके बिहारी जी के प्राकट्य दिवस के अवसर पर दिल्ली के एक भक्त ने भगवान बांके बिहारी जी को पीले रंग की पंचमीना की बेशकीमती पोशाक भेंट की है। यह पोशाक धाम के समय भगवान बांके बिहारी जी को धारण कराई जाएगी। इसके अलावा सुबह भी भगवान बांके बिहारी जी को आकर्षक पोशाक धारण कराई जाएगी।
मंदिर के सेवायत गोपी गोस्वामी ने बताया कि प्राकट्य उत्सव के अवसर पर भगवान बांके बिहारी जी का आकर्षक श्रृंगार किया जायेगा। उनको सोने से बना मुकुट,कुंडल,कंगन, कौंदनी के अलावा विशेष हार धारण कराया जायेगा। यह सभी आभूषण भगवान बांके बिहारी के श्रृंगार हैं।
बांके बिहारी जी के प्राकट्य उत्सव के अवसर पर शाम के समय पहली बार उनके सामने 56 भोग लगाए जायेंगे जिसका भक्त दर्शन करेंगे। भगवान बांके बिहारी जी को अभी तक 56 भोग पर्दे के पीछे ही अर्पित किए जाते थे। सेवायत गोपी गोस्वामी ने बताया कि उनके प्राकट्य उत्सव पर दिन भर खास तरीके से मेवाओं से बना हलवा भक्तों को प्रसाद के रूप में वितरित किया जायेगा।
बांके बिहारी जी के प्राकट्य उत्सव पर पूरे मंदिर को पीले कपड़ों से सजाया गया है। इसके अलावा आकर्षक लाइट भी लगाई गई है। रात को निधिवन और बांके बिहारी मंदिर पर भव्य आतिशबाजी की जायेगी। निधिवन में सुबह मधुकर अपनी संगीत साधना से भगवान बांके बिहारी जी को बधाई देंगे तो शाम को प्रख्यात भजन गायिका पूर्णिमा दीदी भजन गायन करेंगी।