Report By : ICN Network
अडानी ग्रुप की एयरपोर्ट ऑपरेटिंग कंपनी ने मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट के विकास के लिए 1 अरब डॉलर (लगभग 8618 करोड़ रुपये) की पूंजी जुटाई है। यह निवेश वैश्विक स्तर की बड़ी संस्थाओं से आया है, जिनमें अपोलो मैनेज्ड फंड्स, ब्लैकरॉक और स्टैंडर्ड चार्टर्ड बैंक जैसे दिग्गज नाम शामिल हैं। इस फंडिंग खबर का बाजार में सकारात्मक असर देखने को मिला और अडानी समूह की कंपनियों के शेयरों में तेज उछाल आया।
कारोबार की शुरुआत में ही अडानी पोर्ट्स के शेयरों में 4% से ज्यादा की बढ़त दर्ज की गई और वे 1414 रुपये के स्तर पर पहुंच गए। अडानी पावर के शेयरों में 1.36%, अडानी ग्रीन में 2.46%, अडानी एंटरप्राइजेज में 1.58% और अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस में 2.42% की तेजी देखी गई। अडानी ग्रुप की बाकी सूचीबद्ध कंपनियों के स्टॉक्स भी हरे निशान पर कारोबार कर रहे हैं।
पीटीआई की खबर के मुताबिक 750 मिलियन डॉलर (लगभग 6464 करोड़ रुपये) के बॉन्ड जारी किए गए, जो जुलाई 2029 तक चलेंगे। इनका इस्तेमाल पुराने कर्ज को चुकाने (रिफाइनेंसिंग) के लिए किया जाएगा। बाकी 250 मिलियन डॉलर (2,154 करोड़ रुपये) बाद में जुटाए जा सकते हैं।
यह फंडिंग मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड (MIAL) के आधुनिकीकरण और विस्तार में खर्च होगी। अडानी एयरपोर्ट होल्डिंग्स लिमिटेड (AAHL) ने बताया कि इससे एयरपोर्ट की क्षमता बढ़ाने, नई सुविधाएं जोड़ने और यात्री अनुभव सुधारने में मदद मिलेगी।
यह भारत के एयरपोर्ट इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में पहली इन्वेस्टमेंट ग्रेड (IG) रेटेड प्राइवेट बॉन्ड इश्यू है। इससे साबित होता है कि वैश्विक बाजार भारत के बुनियादी ढांचे और अडानी ग्रुप के प्रबंधन पर भरोसा करते हैं।
भारत के एयरपोर्ट सेक्टर में यह अब तक की सबसे बड़ी निजी फंडिंग मानी जा रही है। इस निवेश के जरिए मुंबई एयरपोर्ट की वार्षिक यात्री क्षमता को 9 करोड़ तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है। यह समझौता न केवल “मेक इन इंडिया” अभियान को मजबूती देगा, बल्कि “नेशनल इंफ्रास्ट्रक्चर पाइपलाइन” परियोजना को भी रफ्तार प्रदान करेगा।