Report By : ICN Network
डेल्टा 1 के कम्युनिटी सेंटर, ग्रेटर नोएडा में भारतीय धरोहर विचार मंडल द्वारा आयोजित श्रीमद्भागवत कथा में भक्ति और आस्था का अनूठा नज़ारा देखने को मिला। श्रद्धालुओं का उत्साह चरम पर था, भजन-कीर्तन के बीच नृत्य करते भक्तों पर फूल, मेवे, मिष्ठान और खिलौनों की वर्षा हो रही थी। कथा स्थल को गुब्बारों और पुष्पों से भव्य रूप से सजाया गया था, वहीं श्रद्धालु दोनों हाथ उठाकर “श्रीहरि, श्रीराम और श्रीकृष्ण” के जयकारे लगाते हुए भक्ति रस में डूबे नजर आए।
गुरुवार, 20 मार्च को कथा में आचार्य पवन नंदन ने श्रीराम और श्रीकृष्ण अवतार का भावपूर्ण वर्णन किया। गोस्वामी तुलसीदास के दोहों के माध्यम से श्रीहरि के जन्म से लेकर लव-कुश कथा तक का संगीतमय वर्णन किया गया। कथा स्थल श्रीकृष्ण जन्म के साथ गोकुल की छवि प्रस्तुत करने लगा तो श्रीराम जन्म के दौरान पूरा वातावरण अवधपुरी के रूप में परिवर्तित हो गया।
कथा में प्रहलाद चरित्र, हिरण्यकश्यप वध, गजेंद्र उद्धार, देवासुर संग्राम, अमृत मंथन, बलि-वामन चरित्र और सूर्य-चंद्र वंश का विस्तार से वर्णन किया गया। आचार्य पवन नंदन ने प्रवचन में बताया कि संध्या के समय चार कार्य नहीं करने चाहिए – शयन करने से रोग बढ़ता है, भोजन करने से क्लेश उत्पन्न होता है, रति क्रीड़ा से दुष्ट संतान का जन्म होता है और पढ़ाई करने से याद किया हुआ पाठ समय पर स्मरण नहीं रहता।
कथा के शुभारंभ पर मुख्य यजमान श्री नरेश गुप्ता, दैनिक यजमान श्री नवीन जिंदल, मनोज गर्ग, सौरभ बंसल और सत्यप्रकाश अग्रवाल ने हरिद्वार से पधारे कथा व्यास श्री पवन नंदन जी का स्वागत किया और आशीर्वाद प्राप्त किया।
ग्रेटर नोएडा में 17 से 23 मार्च तक प्राचीन भारतीय ज्ञान परंपरा के संरक्षण, संवर्धन और निःशुल्क आयुर्वेदिक चिकित्सा को समर्पित इस श्रीमद्भागवत कथा का आयोजन किया जा रहा है।
कथा में श्री बच्चू सिंह (ADM), श्री प्रमोद चौहान, श्रीमती सरोज तोमर, श्रीमती विनीता शर्मा, श्रीमती ममता सिंह, श्रीमती पूनम अग्रवाल, रश्मि अरोड़ा, श्री संजय सूदन, श्री गौरव उपाध्याय, श्री नवनीत गुप्ता, श्री डी.के. अरोड़ा, श्री अनुज उपाध्याय, श्री कौशल गुप्ता, कपिल कृष्णा, श्री शरद त्यागी, श्री मुकुल गोयल, सतीश गुप्ता, गिरीश जिंदल, रवि जिंदल, देवराज बंसल सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे। नोएडा से वरिष्ठ समाजसेवी और भारत विकास परिषद के केंद्रीय वित्त मंत्री श्री महेश बाबू गुप्ता, श्री सुरेंद्र चौहान और श्री राकेश चौहान ने भी कथा में भाग लिया।