Report By-Anjani Kumar Mishra Amethi (UP)
यूपी के अमेठी में किसानों को फसल में ड्रोन के जरिए करना है दवा का छिड़काव, तो इस नंबर पर करें संपर्क, तुरंत मिलेगी सुविधा
अमेठी के किसानों की फसलों में ड्रोन से दवाओं का छिड़काव किया जा रहा है. ड्रोन से खाद और दवाओं के छिड़काव के बाद फसलों की पैदावार दुगनी होगी और किसानों की आय में वृद्धि होगी.।किसानों को प्रगतिशील बनाने के लिए और खेती किसानी की नई-नई विधि सीखने के लिए नई गतिविधियां किसानों के हित में चलाई जा रही है।
इसी क्रम में अब आधुनिक और डिजिटल खेती को बढ़ावा देने के क्रम में अमेठी के किसानों की फसलों में ड्रोन से दवाओं का छिड़काव किया जा रहा है. ड्रोन से खाद और दवाओं के छिड़काव के बाद फसलों की पैदावार दुगनी होगी और किसानों की आय में वृद्धि होगी.विभागीय अधिकारी भी किसानों के साथ समन्वय बना कर इस कार्य को प्रत्येक गांव में संपन्न कर रहे हैं.बात अगर अमेठी की करें तो अमेठी जिले में चार तहसीलें हैं. चार तहसीलों के 682 ग्राम पंचायत में किसानों की सूचना के बाद ड्रोन के जरिए दवाओं का छिड़काव किया जा रहा है. इस तकनीकी में खाद बीज और कीटनाशक दवाई शामिल हैं. जहां पर ड्रोन के जरिए सभी कार्य एक बार में कम समय में बेहतर तरीके से किया जा रहे हैं।
जारी किया गया नंबर
कृषि विभाग की तरफ से और कृषि रक्षा इकाई की तरफ से इसके लिए एक नंबर भी जारी किया गया है. जिस पर संपर्क कर किसान खेती किसानी की नई नई तकनीकी जान सकते हैं।इसके साथ ही अपने खेतों में दवाओं का छिड़काव भी ड्रोन के जरिए कर सकते है।जारी नंबर 8052900956, 9838952621 पर संपर्क कर किसान अपने खेतों में छिड़काव करा सकते हैं।इसके साथ ही फसल में लगने वाले रोग की भी जानकारी और अन्य जानकारी हासिल कर सकते हैं।खास बात यह है कि आगे आने वाले समय में इसी ड्रोंन के जरिए फसलों में रखने वाले रोगों का पहले से ही पता चल जाएगा।
वहीं कृषि रक्षा इकाई अधिकारी डॉक्टर हरिओम मिश्रा ने बताया यह पहल किसानों के लिए बहुत ही फायदेमंद है. इस पहल से कम समय में किसानों के खेतों में बिना किसी श्रमिक या लेबर के दवाओं का छिड़काव किया जा रहा है।आने वाले समय में इसी ड्रोन में तकनीकी विकसित करते हुए फसलों में लगने वाले संभावित रोग और मिट्टी की नमी का भी पता लगाया जा सकेगा।जिससे किसानों की फसले सुरक्षित रहेगी और समय रहते उनमें दवाओं का छिड़काव आसानी से किया जा सकेगा. सभी किसानों को इसका लाभ दिया जा रहा है।