Report By : ICN Network
नोएडा, ग्रेटर नोएडा, दिल्ली और जेवर एयरपोर्ट के बीच बेहतर संपर्क के लिए एक और नया एक्सप्रेसवे तैयार किया जा रहा है। यह प्रस्तावित एक्सप्रेसवे यमुना नदी के किनारे नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे के समानांतर बनेगा और इसकी कुल लंबाई करीब 30 किलोमीटर होगी। इसके जरिए पुश्ता रोड को नोएडा-ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेसवे से जोड़ा जाएगा, जिससे ट्रैफिक का दबाव कम होगा और सफर सुगम होगा।
सांसद डॉ. महेश शर्मा ने इस परियोजना का प्रस्ताव केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी के सामने रखा, जिसे उन्होंने सैद्धांतिक रूप से मंजूरी दे दी है। जेवर एयरपोर्ट में आयोजित “एक पेड़ मां के नाम” कार्यक्रम के दौरान गडकरी ने कहा कि NHAI इस परियोजना को लेकर गंभीर है और धन की कोई कमी नहीं आने दी जाएगी।
गडकरी ने अपने भाषण में बताया कि दिल्ली-एनसीआर में 1.2 लाख करोड़ रुपये की सड़कों से जुड़ी परियोजनाएं चल रही हैं, जिनमें से 60,000 करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट पूरे हो चुके हैं। उन्होंने इस नए एक्सप्रेसवे को लेकर कहा कि हम इसमें 40 से 50 हजार करोड़ रुपये तक का निवेश करने को तैयार हैं।
इससे पहले मार्च 2025 में नोएडा अथॉरिटी बोर्ड ने भी इस एक्सप्रेसवे के प्रस्ताव को मंजूरी दी थी। यूपी के मुख्य सचिव ने उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियल अथॉरिटी (UPEIDA) को इसे लागू करने की जिम्मेदारी सौंपी थी और नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना अथॉरिटी से लागत साझा करने को कहा गया था। हालांकि, नोएडा अथॉरिटी चाहती है कि इसे NHAI बनाए। अब केंद्र सरकार की रुचि मिलने के बाद केवल NHAI की औपचारिक मंजूरी बाकी है।
रिवरसाइड बाइपास के बनने से दिल्ली से आने-जाने वाले लोगों को सबसे ज्यादा फायदा होगा। यह सड़क दिल्ली से आने वाले वाहनों को नोएडा एक्सप्रेसवे में प्रवेश किए बिना ही सीधे जेवर एयरपोर्ट तक पहुंचने की सुविधा देगी, जिससे समय और ट्रैफिक दोनों की बचत होगी।