8 अगस्त को कासना के जलालपुर स्थित रघुनाथपुर गांव में हुई हत्या का पुलिस ने खुलासा किया है। मृतक प्रकाश बोसक के बेटे संतोष बोसक ने अपने पिता की हत्या कर दी थी। वह व्यापार में घाटा और लिए हुए लोन को चुकाने के दबाव में था। पुलिस ने सबूतों और मैनुअल इंटेलिजेंस की मदद से जांच की और दनकौर रेलवे स्टेशन से संतोष को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस का बयान
एडीसीपी ग्रेटर नोएडा सुधीर कुमार ने बताया कि प्रकाश बोसक की हत्या 8 अगस्त 2024 को अज्ञात बदमाशों द्वारा की गई थी। मामले की जांच के दौरान पुलिस को अहम सुराग मिले, जिससे पता चला कि हत्या किसी और ने नहीं, बल्कि उनके बेटे संतोष ने ही की थी। लोन और बीमा की वजह से किया पिता का कत्ल
संतोष और उसके पिता ने 2022 में एक निजी बैंक से करीब 12.5 लाख रुपये का होम लोन लेकर बुलंदशहर में एक घर खरीदा था। इस लोन की मासिक किश्त 12,500 रुपये थी, जिसे चुकाने में दिक्कत हो रही थी। बाद में, दोनों ने एक हाउसिंग फाइनेंस कंपनी से 21 लाख रुपये का नया लोन लिया। इसमें से 12.5 लाख रुपये पहले लोन को चुकाने में चले गए, जबकि 7.69 लाख रुपये संतोष ने अपने मसाले के बिजनेस (PSG मसाला) के खाते में डाल दिए। इस लोन के तहत मृतक प्रकाश का 60% बीमा कवरेज था और इसकी मासिक किश्त 27,000 रुपये थी, जिसे चुकाना मुश्किल हो रहा था। इसी दौरान संतोष को पता चला कि उसके पिता ने 25-25 लाख रुपये के दो जीवन बीमा करा रखे हैं, जिनकी नॉमिनी उसकी मां थी। हत्या की साजिश और क्रूरतापूर्ण अंजाम
संतोष ने सोचा कि अगर वह अपने पिता की हत्या कर दे तो उसे 50 लाख रुपये की बीमा राशि मिल जाएगी और साथ ही बैंक का 60% लोन बीमा कंपनी चुका देगी। लालच में आकर उसने अपने पिता की हत्या की योजना बनाई। घटना के दिन वह घर से सब्जी काटने वाला चाकू बैग में रखकर अपने पिता के साथ दिल्ली गया। लौटते समय उसने जानबूझकर सुनसान कच्ची सड़क का रास्ता लिया और स्कूटी ज्वार के खेत के पास रोक दी। वहां उसने अपने पिता से कहा कि वह पेशाब कर लें। जैसे ही प्रकाश बोसक स्कूटी से उतरे, संतोष ने पीछे से चाकू निकालकर उनकी बेरहमी से हत्या कर दी। गुनाह छुपाने के लिए खुद को किया घायल
हत्या के बाद संतोष ने शक से बचने के लिए खुद की छाती पर भी हल्का चाकू से वार किया और चाकू को पास की झाड़ियों में फेंक दिया। फिर उसने पिता की मृत्यु का प्रमाण पत्र बनवाया और तीन महीने के अंदर बीमा की 50 लाख रुपये की राशि मां के बैंक खाते में ट्रांसफर करा ली। हालांकि, उसने न तो अपनी मां को और न ही छोटे भाई को इस पैसे के बारे में बताया और पूरी रकम खुद रख ली। पुलिस जांच में सच्चाई सामने आई और संतोष को गिरफ्तार कर लिया गया।